Remembering Rishi Kapoor: A Tribute to the Legendary Actor on His Birth Anniversary
Remembering Rishi Kapoor: On His Birth Anniversary
सिनेमा ,परदे पर बहती भावनाओ की ऐसी नदी है कि आप तट पर भी बैठे हो, भीग जायेंगे। सातवे दशक का तीसरा साल , जिसने गुस्से का एक ऐसा चेहरा गढ़ा की अन्याय के सामने के पाले में यही चेहरा ,अपनी गाढ़ी आवाज़ में बरसता दिखता लेकिन जब गुस्से की आग बरस रही हो तो संतुलन साधने चांदनी सी बरसती, उल्फत की बारिश भी इन्तेहाई ज़रूरी है.
भारतीय टीनएज रोमांस का आरंभ और मशहूर बाइक का जादू: बॉबी
तपते बदन पर बारिश की बूंदो का नाम 'बॉबी' था और भारत में टीनएज मोहब्बत के अफ़साने को अपने बेहद मासूम चेहरे से रंगने वाले मुसब्बिर का नाम ; ऋषि था , ऋषि कपूर। भोलेपन और मासूमियत को अगर कोई चेहरा देना हो तो यकीनन , बेखयाली में भी एक ही चेहरा हमारे ज़ेहन में तैर जायेगा
बॉबी 1973 में रिलीज़ हुई जो भारतीय सिनेमा के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर मानी जाती है। राज कपूर द्वारा निर्देशित इस फिल्म ने न सिर्फ एक नए प्रकार के प्रेम को परदे पर प्रस्तुत किया, बल्कि भारतीय युवाओं के बीच टीनएज रोमांस की शुरुआत की।
(Source: https://www.indiatoday.in/) |
Read Also: Hrishikesh Mukherjee Death Anniversary
बॉबी की कहानी दो किशोर प्रेमियों पर आधारित थी—ऋषि कपूर द्वारा निभाया गया 'राज' और डिंपल कपाड़िया द्वारा निभाई गई 'बॉबी। उस समय, यह भारतीय सिनेमा में एक अनोखी बात थी कि दो किशोरों के प्रेम को इतनी प्रमुखता से दिखाया गया। रोमांस को लेकर इस नए दृष्टिकोण ने भारतीय समाज में एक ताज़गी भरी लहर पैदा की। यह फिल्म अपने सरल, मासूम और दिल छू लेने वाले प्रेम से दर्शकों के दिलों में एक विशेष जगह बना गई।
काम पर राज ने आदर्श टीनएज प्रेमी का किरदार निभाया, और इसने खासतौर पर युवाओं के दिलों में गहरी छाप छोड़ी। इस फिल्म के साथ, टीनएज रोमांस की अवधारणा ने भारत में सिनेमा में अपनी जगह बनाई। इससे पहले, अधिकांश प्रेम कहानियाँ परिपक्व प्रेमियों पर केंद्रित होती थीं, लेकिन बॉबी ने प्रेम की मासूमियत और किशोर अवस्था की रोमांचकता को उजागर किया।
बॉबी के साथ केवल प्रेम कहानी ही नहीं, बल्कि राज की बाइक भी खूब मशहूर हुई। फिल्म में राज द्वारा चलाई गई यामाहा आरडी350 बाइक उस समय युवाओं के बीच एक प्रतीक बन गई। यह बाइक न सिर्फ फिल्म का एक महत्वपूर्ण हिस्सा थी, बल्कि युवा दर्शकों के लिए एक स्टाइल स्टेटमेंट भी बन गई थी। इस बाइक के माध्यम से भी एक नया चलन शुरू हुआ, जहाँ युवाओं ने इसे अपनाकर अपनी पहचान बनाई।
बॉबी ने न केवल भारतीय सिनेमा को एक नई दिशा दी, बल्कि टीनएज रोमांस की एक नई लहर भी पैदा की। ऋषि कपूर और डिंपल कपाड़िया की जोड़ी, उनकी मासूम प्रेम कहानी और राज की बाइक का जादू आज भी भारतीय सिनेमा के सुनहरे पन्नों में दर्ज है।
डेब्यू हीरोइंस के साथ सबसे ज्यादा काम करने वाले अभिनेता
यह तथ्य अपने आप में बेहद खास है कि लगभग 14 हीरोइनों की पहली फिल्म में ऋषि कपूर उनके नायक रहे।
ऋषि कपूर की यह खूबी कि वे इतनी डेब्यू हीरोइनों के साथ पर्दे पर उतरे, उनके आत्मविश्वास और बेमिसाल टैलेंट को दर्शाता है. उन्होंने हर नई हीरोइन के साथ अपनी केमिस्ट्री को इस तरह गढ़ा कि फिल्में सुपरहिट रहीं और ये नई अभिनेत्रियाँ एक मजबूत पहचान बना सकीं। ऋषि कपूर का यह नई अभिनेत्रियों से न सिर्फ अपने आत्मविश्वास को दर्शाता है, बल्कि यह भी साबित करता है कि वह हर बार अपने सह-अभिनेताओं को उनके सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए प्रेरित करते थे। उन्होंने नई हीरोइनों को न केवल सहारा दिया बल्कि उन्हें अभिनय के क्षेत्र में चमकने का मौका भी दिया।
यह बताता है कि ऋषि कपूर ने न सिर्फ स्वयं को एक सफल अभिनेता के रूप में स्थापित किया, बल्कि अपने समय की सबसे बड़ी अभिनेत्रियों के करियर को लॉन्च करने में भी बहुत बड़ी भूमिका निभाई। इस तरह का योगदान ऋषि कपूर का सिनेमा की दुनिया में हमेशा याद रखा जाएगा।
आज इसी ज़िन्दगी से भरे ऋषि का जन्मदिन है
© अविनाश त्रिपाठी
Post a Comment